’अज़ीज़ सफ़ीपुरी और उनकी उर्दू शा’इरी – Amir Khusrau, Nizamuddin Auliya, Sufi Qawwali, Sufi Kalam

उर्दू की तर्वीज-ओ-इशा’अत और फ़रोग़-ओ-इर्तिक़ा में सूफ़िया-ए-किराम ने जो ख़िदमात पेश कीं वो किसी साहिब-ए-नज़र से पोशीदा नहीं। इस ज़बान

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